Business

मध्य प्रदेश में विदेशी पर्यटकों की संख्या में 30-40% वृद्धि की उम्मीद

भोपाल: इंडियन एसोसिएशन ऑफ टूर ऑपरेटर्स (IATO) के 39वें वार्षिक अधिवेशन के सफल आयोजन से मध्य प्रदेश में विदेशी और देशी पर्यटकों की संख्या में बढ़ोतरी की उम्मीद जताई जा रही है। यह अधिवेशन भोपाल में मध्यप्रदेश टूरिज्म बोर्ड के सहयोग से आयोजित किया गया, जिसमें रिकॉर्ड 1200 से अधिक सदस्य शामिल हुए। इस आयोजन से प्रदेश में विदेशी पर्यटकों की संख्या में 30-40% की वृद्धि का अनुमान लगाया जा रहा है।

**बेहतर एयर कनेक्टिविटी और पर्यटन सुविधाओं का लाभ**

IATO के उपाध्यक्ष रवि गोसाईं ने बताया कि महाराष्ट्र में 2023 में हुए अधिवेशन के बाद विदेशी पर्यटकों की संख्या में 15-20% की वृद्धि देखी गई थी। मध्य प्रदेश की बेहतर एयर कनेक्टिविटी, हवाई मार्ग, रेल मार्ग और सड़क मार्ग से बेहतर जुड़ाव, और इंदौर, भोपाल, ग्वालियर, जबलपुर, और खजुराहो जैसे प्रमुख शहरों के इंटरनेशनल एयरपोर्ट्स से प्रदेश की स्थिति और भी मजबूत हो गई है। जल्द ही रीवा और दतिया एयरपोर्ट की शुरुआत से पर्यटन के साथ-साथ वाणिज्य और सांस्कृतिक आदान-प्रदान को भी बढ़ावा मिलेगा।

**पर्यटन सुविधाओं में विस्तार और नए गंतव्य**

मध्य प्रदेश में पर्यटन स्थलों पर बुनियादी ढांचे का विकास, नए लग्जरी टेंट सिटी और होटलों की स्थापना, और लगातार बढ़ती पर्यटन सुविधाएं इनबाउंड टूरिज्म को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं। हवाई संपर्क के विस्तार से अंतरराष्ट्रीय बाजारों तक पहुंच और भी आसान हो गई है, जिससे विकास के नए रास्ते खुल रहे हैं।

**पर्यटन गंतव्यों से मिल रहा सकारात्मक प्रभाव**

IATO के 350 से अधिक सदस्यों ने चंदेरी, उज्जैन, इंदौर, भीमबेटका, और भोजपुर जैसे प्रमुख पर्यटन स्थलों का भ्रमण किया। IATO के म.प्र. चेयरमैन महेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि फैम ट्रिप्स से पर्यटन को निश्चित रूप से लाभ मिलेगा। ट्रेवल एजेंट्स और टूर ऑपरेटर्स प्रदेश के प्राकृतिक सौंदर्य, यूनेस्को विश्व धरोहर स्थलों, हरियाली, और समृद्ध वन्यजीव संपदा से प्रभावित हो रहे हैं। ये लोग अपने अनुभव के आधार पर विदेशी पर्यटकों को मध्य प्रदेश की समृद्ध विरासत और गौरवशाली संस्कृति से अवगत कराकर उन्हें प्रदेश में आने के लिए प्रोत्साहित करेंगे।


IATO अधिवेशन और फैम ट्रिप्स से मध्य प्रदेश में विदेशी पर्यटकों की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि की संभावना है। पर्यटन उद्योग में इस सकारात्मक बदलाव से प्रदेश की अर्थव्यवस्था और सांस्कृतिक पहचान को भी मजबूती मिलेगी।

Related Articles