सूर्य अर्घ्य के लिए तैयार हो जाएं: सारिका घारू
प्रकृति को समर्पित पर्व छठ पूजा में गुरुवार, 7 नवंबर को शाम के समय सूर्यास्त पर नदी या तालाब किनारे जाकर सूर्य को अर्घ्य देने की परंपरा है। इस पर्व के चार दिन के अनुष्ठान का यह सबसे महत्वपूर्ण दिन माना गया है। अगले दिन, 8 नवंबर को प्रातः काल उगते हुए सूर्य को अर्घ्य दिया जाएगा, जिसके बाद व्रत तोड़ा जाएगा और प्रसाद का वितरण किया जाएगा।
इस वर्ष विभिन्न शहरों में सूर्यास्त और सूर्योदय का समय बताते हुए नेशनल अवार्ड प्राप्त विज्ञान प्रसारक सारिका घारू ने कहा कि पूर्वी भारत के नगरों में सूर्य पहले उदय और अस्त होंगे, जबकि पश्चिमी नगरों में सूर्य दर्शन के लिए थोड़ा इंतजार करना पड़ेगा। उन्होंने बताया कि सूर्योदय का समय उस क्षण को दर्शाता है जब सूर्य क्षितिज पर दिखाई देना शुरू होता है, जबकि सूर्यास्त उस समय को दर्शाता है जब सूर्य पूरी तरह से छिप जाता है।
सूर्य अर्घ्य का समय (7-8 नवंबर 2024)
तो तैयार हो जाईये जीवन को देने वाले सूर्यदर्शन के लिये ।
नगर 7 नवम्बर शाम सूर्यास्त 8 नवम्बर प्रात-: सूर्योदय
सिंगरौली 5 बजकर 16 मिनिट 6 बजकर 10 मिनिट
अनूपपुर 5 बजकर 21 मिनिट 6 बजकर 12 मिनिट
जबलपुर 5 बजकर 28 मिनिट 6 बजकर 19 मिनिट
छिंदवाड़ा 5 बजकर 34 मिनिट 6 बजकर 22 मिनिट
भोपाल 5 बजकर 38 मिनिट 6 बजकर 29 मिनिट
रायसेन 5 बजकर 37 मिनिट 6 बजकर 28 मिनिट
नर्मदापुरम 5 बजकर 38 मिनिट 6 बजकर 27 मिनिट
बैतूल 5 बजकर 38 मिनिट 6 बजकर 26 मिनिट
हरदा 5 बजकर 41 मिनिट 6 बजकर 29 मिनिट
सीहोर 5 बजकर 39 मिनिट 6 बजकर 31 मिनिट
उज्जैन 5 बजकर 45 मिनिट 6 बजकर 36 मिनिट
इंदौर 5 बजकर 45 मिनिट 6 बजकर 35 मिनिट
रतलाम 5 बजकर 47 मिनिट 6 बजकर 39 मिनिट
नीमच 5 बजकर 48 मिनिट 6 बजकर 42 मिनिट
खरगौन 5 बजकर 49 मिनिट 6 बजकर 35 मिनिट
झाबुआ 5 बजकर 50 मिनिट 6 बजकर 40 मिनिट
बड़वानी 5 बजकर 50 मिनिट 6 बजकर 38 मिनिट
इटानगर 4 बजकर 28 मिनिट 5 बजकर 30 मिनिट
पटना 5 बजकर 04 मिनिट 6 बजकर 02 मिनिट
जयपुर 5 बजकर 39 मिनिट 6 बजकर 41 मिनिट
बांसवाड़ा 5 बजकर 50 मिनिट 6 बजकर 42 मिनिट
जोधपुर 5 बजकर 51 मिनिट 6 बजकर 51 मिनिट
सोमनाथ 6 बजकर 04 मिनिट 6 बजकर 52 मिनिट