जीडीएम दिवस 2025: गर्भावस्था में डायबिटीज की रोकथाम के लिए जागरूकता अभियान

स्वास्थ्य संस्थानों में आज आयोजित होंगे जीडीएम स्क्रीनिंग शिविर

भोपाल ।  जेस्टेशनल डायबिटीज मेलिटस (GDM) दिवस के अवसर पर आज पूरे जिले में गर्भावस्था में डायबिटीज को लेकर जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है। जिला अस्पतालों, सिविल अस्पतालों, सामुदायिक और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में मुफ्त जीडीएम स्क्रीनिंग शिविर आयोजित किए जाएंगे। इन शिविरों में गर्भवती महिलाओं और उनके परिजनों को GDM की जांच और गर्भावस्था में समय पर पंजीयन के महत्व के बारे में जानकारी दी जाएगी।

गर्भावस्था में डायबिटीज क्यों है खतरनाक?

GDM एक ऐसी स्थिति है, जिसमें गर्भावस्था के दौरान पहली बार ब्लड शुगर बढ़ने का पता चलता है। शरीर में हार्मोनल बदलाव के कारण इंसुलिन का प्रभाव कम हो जाता है, जिससे ब्लड शुगर लेवल बढ़ जाता है। यह स्थिति मां और बच्चे दोनों के स्वास्थ्य को गंभीर रूप से प्रभावित कर सकती है।

GDM से जुड़े संभावित स्वास्थ्य जोखिम:

शिशु का असामान्य रूप से बड़ा होना (Macrosomia)
गर्भावस्था में हाई ब्लड प्रेशर और प्री-एक्लेम्पसिया का खतरा
डिलीवरी के दौरान जटिलताएं
शिशु में जन्म के बाद हाइपोग्लाइसीमिया (कम शुगर लेवल)
बच्चे में भविष्य में डायबिटीज और मोटापे का बढ़ता खतरा

निशुल्क जीडीएम जांच कहां करवा सकते हैं?

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. प्रभाकर तिवारी ने बताया कि गर्भावस्था की पुष्टि होते ही महिला को निकटतम स्वास्थ्य केंद्र पर पंजीयन कराना चाहिए।

निशुल्क GDM जांच की सुविधा उपलब्ध है:
जिला अस्पताल एवं सिविल अस्पतालों में
सामुदायिक एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में
हेल्थ एंड वेलनेस सेंटरों में

कैसे बचाव करें?

संतुलित आहार लें और शुगर युक्त भोजन से बचें
नियमित शारीरिक गतिविधि बनाए रखें
ब्लड शुगर लेवल की समय-समय पर जांच कराएं
डॉक्टर द्वारा सुझाई गई दवाओं का सही तरीके से सेवन करें

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