भोपाल: कोलार रोड थाना पुलिस ने फर्जी बैंक खाते खरीदने और बेचने वाले गिरोह का पर्दाफाश करते हुए तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। यह गिरोह तीन महीनों के भीतर दो बैंक खातों के माध्यम से 5.56 करोड़ रुपये से अधिक का लेनदेन कर चुका था। आरोपियों के कब्जे से 8 लाख रुपये नकद, इलेक्ट्रॉनिक उपकरण और अन्य दस्तावेज जब्त किए गए हैं।
पुलिस को ऐसे मिली सूचना
19 दिसंबर 2024 को बैंक ऑफ महाराष्ट्र की मंदाकिनी कोलार रोड शाखा से ईमेल के माध्यम से पुलिस को जानकारी दी गई कि एक खाता धारक, राहुल श्रीवास्तव, खाता बंद कराने बैंक पहुंचा। जांच में पता चला कि उसके दो खातों में पिछले तीन महीनों में करीब 3 करोड़ रुपये का संदिग्ध लेनदेन हुआ है। बैंक ने मामले को संदिग्ध मानते हुए पुलिस को जानकारी दी।
कैसे हुआ खुलासा?
जांच के दौरान राहुल श्रीवास्तव से पूछताछ की गई। उसने बताया कि उसने 45,000 रुपये के बदले अपने बैंक खाते घनश्याम सिंगरोले को बेचे थे। इन खातों का इस्तेमाल लाखों रुपये के अवैध लेनदेन के लिए किया गया। इसके अलावा, राहुल और उसकी पत्नी प्रीति श्रीवास्तव के नाम पर दो अन्य फर्जी खाते भी खोले गए। राहुल ने बताया कि फर्जी दस्तावेजों के आधार पर घनश्याम, नितेश शुक्ला और निकिता प्रजापति ने यह धोखाधड़ी की।
गिरफ्तारी और जब्ती
पुलिस ने 21 दिसंबर को मुखबिर की सूचना पर आरोपी निकिता प्रजापति और नितेश शुक्ला को बाग सेवनिया इलाके से गिरफ्तार किया। इनके कब्जे से नकद 8 लाख रुपये, 34 डेबिट/क्रेडिट कार्ड, 6 मोबाइल फोन, 3 कार्ड स्वाइप मशीन, 77 सिम कार्ड, 24 चेकबुक, और कई फर्जी दस्तावेज जब्त किए गए।
22 दिसंबर को खाता धारक राहुल श्रीवास्तव को भी गिरफ्तार कर उसके पास से मोबाइल फोन, पासबुक, और अन्य संबंधित दस्तावेज जब्त किए गए।
आरोपी और उनकी भूमिका
1. राहुल श्रीवास्तव उर्फ बबलू: बैंक खाते बेचने और कमीशन के रूप में 40,000 रुपये लेने का आरोप।
2. निकिता प्रजापति: फर्जी दस्तावेज तैयार करने और अवैध खाते खोलने में सहयोग।
3. नितेश शुक्ला: फर्जी दस्तावेजों के आधार पर बैंक खाते खोलने और बेचने का आरोप।
जप्त सामग्री
8 लाख रुपये नकद
34 क्रेडिट/डेबिट कार्ड
6 मोबाइल फोन
3 कार्ड स्वाइप मशीन
77 सिम कार्ड
फर्जी दस्तावेज और अन्य सामान
पुलिस की सराहनीय भूमिका
मामले की जांच और आरोपियों की गिरफ्तारी में थाना प्रभारी संजय सोनी और उनकी टीम के सदस्य, including उनि सुनील इवनाती, प्रआर अनुरोध सिंह राजपूत, और सायबर शाखा की टीम ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
अग्रिम कार्रवाई
पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ धारा 318(4), 49, 336(3), और 61(2) बीएनएस के तहत मामला दर्ज किया है। अन्य आरोपियों की तलाश जारी है। मामले की विस्तृत जांच चल रही है।