भोपाल। मध्य प्रदेश कर्मचारी मंच ने अंशकालीन कर्मचारियों की पांच सूत्रीय मांगों के समर्थन में आगामी 24 नवंबर को होने वाले आंदोलन के लिए आज से जन जागरण अभियान शुरू कर दिया है। यह अभियान वन भवन के विभिन्न ब्लॉक्स (ए, बी, सी, डी), पर्यावरण वानिकी वन मंडल, सामान्य वन मंडल और मुख्य वन संरक्षक कार्यालय भोपाल में चलाया गया।
मंच के प्रांताध्यक्ष अशोक पांडे ने बताया कि अंशकालीन कर्मचारियों की मांगों को लंबे समय से नजरअंदाज किया जा रहा है। सरकार ने पिछले 25 वर्षों से उनकी वेतन वृद्धि या किसी भी प्रकार की लाभकारी नीति पर विचार नहीं किया। इन कर्मचारियों को न तो पीएफ, बीमा, पेंशन, और मेडिकल जैसी सुविधाएं मिलती हैं, न ही ग्रेच्युटी या अनुकंपा नियुक्ति का लाभ।
मुख्य मांगें:
1. 10 साल की सेवा पूरी कर चुके अंशकालीन कर्मचारियों को नियमित किया जाए।
2. कलेक्टर दर पर दैनिक वेतन दिया जाए।
3. पेंशन योजना का लाभ प्रदान किया जाए।
4. अंशुमन कार्ड और मेडिकल सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं।
5. 10 लाख रुपये की ग्रेच्युटी का भुगतान किया जाए।
अशोक पांडे ने बताया कि कर्मचारियों को सरकार की उदासीनता के कारण आंदोलन का रास्ता अपनाना पड़ा है। आगामी 24 नवंबर 2024 को भोपाल में एक विशाल धरना आयोजित किया जाएगा, जिसमें मुख्यमंत्री को उनकी मांगों का ज्ञापन सौंपा जाएगा। इस दौरान अंशकालीन कर्मचारी एकजुट होकर अपनी मांगों को सरकार से मनवाने के लिए दबाव बनाएंगे।
जन जागरण अभियान का उद्देश्य
कर्मचारी नेताओं ने बताया कि यह अभियान अंशकालीन कर्मचारियों के अधिकारों के प्रति जागरूकता बढ़ाने और उनके शोषण के खिलाफ आवाज उठाने के लिए शुरू किया गया है। उन्होंने कहा कि नौकरशाही की नीतियां इन कर्मचारियों के हितों का हनन कर रही हैं, जिसे अब बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
मध्य प्रदेश कर्मचारी मंच का यह आंदोलन अंशकालीन कर्मचारियों के हक और भविष्य की सुरक्षा के लिए एक अहम कदम माना जा रहा है।