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प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान: भोपाल में 65 स्वास्थ्य संस्थानों पर गर्भवती महिलाओं की जांच

भोपाल, । प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत जिले की 65 स्वास्थ्य संस्थाओं में गर्भवती महिलाओं के लिए विशेष जांच शिविरों का आयोजन किया गया। इन शिविरों में निशुल्क सोनोग्राफी समेत कई मेडिकल सेवाएं प्रदान की गईं। जांच के लिए महिलाओं को 108 एंबुलेंस सेवा के जरिए लाने और घर छोड़ने की सुविधा भी निशुल्क दी गई। इसके अलावा, गर्भवती महिलाओं को मानसिक स्वास्थ्य परामर्श भी उपलब्ध कराया गया।

स्वास्थ्य शिविर में उपलब्ध सेवाएं

इन शिविरों में उन महिलाओं की पहचान की गई जो पहले सिजेरियन प्रसव, गर्भावस्था में उच्च रक्तचाप, गंभीर एनीमिया, हैबिचुअल अबॉर्शन, मृत शिशु जन्म और माल प्रेजेंटेशन जैसी जटिलताओं से गुजर चुकी हैं। चयनित महिलाओं को विशेष चिकित्सकीय देखभाल और परामर्श की सेवाएं दी गईं।

शिविर में निम्नलिखित जांचें की गईं:

हीमोग्लोबिन और ब्लड ग्रुप की जांच

यूरिन एल्ब्युमिन, शुगर और ओरल ग्लूकोज टॉलरेंस टेस्ट

मलेरिया, टीबी, हेपेटाइटिस, एचआईवी और सिफलिस की जांच


निजी क्षेत्र का योगदान

इन शिविरों में निजी अस्पतालों और डॉक्टरों ने स्वैच्छिक रूप से निशुल्क परामर्श दिया। पीपल्स मेडिकल कॉलेज, चिरायु मेडिकल कॉलेज, आरकेडीएफ मेडिकल कॉलेज, सागर मल्टी स्पेशलिटी हॉस्पिटल, अपोलो सेज, बीड़कर क्लिनिक, अशोका आईवीएफ सेंटर और यूनिक हॉस्पिटल के चिकित्सकों ने सक्रिय भागीदारी की।

ई-रुपी मॉडल के तहत निशुल्क सोनोग्राफी

प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत 21 निजी सोनोग्राफी केंद्रों में ई-रुपी मॉडल के माध्यम से निशुल्क सोनोग्राफी की जा रही है, ताकि गर्भवती महिलाओं को समय पर आवश्यक सेवाएं मिल सकें।

हाई-रिस्क गर्भवतियों के लिए विशेष प्रबंधन

भोपाल के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. प्रभाकर तिवारी ने बताया कि अभियान का उद्देश्य मातृ मृत्यु दर को कम करना है। शिविरों में पहचानी गई हाई-रिस्क गर्भवती महिलाओं को आवश्यकता के अनुसार बर्थ वेटिंग रूम में भर्ती किया जा रहा है, ताकि जटिलताओं के दौरान तत्काल देखभाल सुनिश्चित की जा सके।

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