शिवपुरी, कोलारस (मध्य प्रदेश) – कोलारस थाना क्षेत्र के निवोदा गांव में एक दुखद घटना सामने आई है, जहां खदान के जलभराव से बने तालाब में नहाने गए तीन बच्चों की डूबने से मौत हो गई। यह दर्दनाक हादसा उस समय हुआ, जब गांव के पास मौजूद खदान के पानी से बने तालाब में बच्चे खेलने और नहाने गए थे।
**मृतक बच्चों की पहचान**
जानकारी के अनुसार, ये तीनों बच्चे घुमंतु जाति से ताल्लुक रखते थे और नजदीक ही स्थित डेरों में अपने परिवारों के साथ रहते थे। जब बच्चे काफी देर तक घर नहीं लौटे तो परिजनों ने उनकी तलाश शुरू की, जिसके बाद तालाब में उनकी लाशें मिलीं। इस हादसे से पूरे गांव में शोक की लहर दौड़ गई है।
**पोस्टमार्टम कराने से परिजनों का इंकार**
घटना की सूचना मिलते ही पुलिस और प्रशासन की टीम मौके पर पहुंच गई। लेकिन परिजनों ने बच्चों के शवों का पोस्टमार्टम कराने से साफ इंकार कर दिया। परिजनों का कहना है कि वे बच्चों का बिना पोस्टमार्टम के ही अंतिम संस्कार करेंगे। फिलहाल, प्रशासन उन्हें समझाने का प्रयास कर रहा है।
**अधिकारियों की मौजूदगी में छानबीन जारी**
घटनास्थल पर कोलारस थाना पुलिस और स्थानीय प्रशासन मौजूद है और मामले की जांच की जा रही है। अधिकारियों ने कहा कि घटना के कारणों का पता लगाने के लिए आस-पास के लोगों से पूछताछ की जा रही है और आगे की कार्रवाई परिजन की सहमति के आधार पर की जाएगी।
**अवैध खनन और जलभराव बना हादसों का कारण**
गौरतलब है कि निवोदा गांव के आसपास खदानों में अवैध रूप से जलभराव होने के कारण कई बार इस तरह की दुर्घटनाएं हो चुकी हैं। स्थानीय लोग प्रशासन से इन खदानों को बंद कराने और पानी निकालने की मांग कर रहे हैं, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचा जा सके।
**क्या प्रशासन उठाएगा कोई ठोस कदम?**
इस घटना ने प्रशासनिक लापरवाही और सुरक्षा उपायों की कमी को उजागर कर दिया है। अब देखना यह है कि प्रशासन इन खतरनाक जलभराव वाले तालाबों को बंद करने के लिए क्या कदम उठाता है, ताकि भविष्य में मासूमों की जिंदगी इस तरह की दर्दनाक घटनाओं का शिकार न हो।
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