State

सातवें वेतन और वरीयता सूची जारी न होने से कर्मचारियों में आक्रोश, संघ ने की मांग

भोपाल: मध्यप्रदेश जन अभियान परिषद और योजना, आर्थिक एवं सांख्यकीय विभाग के अधिकारी-कर्मचारियों में आक्रोश व्याप्त है। उनकी शिकायत है कि सातवें वेतनमान और प्रथम नियुक्ति दिनांक से वरीयता सूची अब तक जारी नहीं की गई है।

भर्ती और नियमितीकरण का मामला:
वर्ष 2007, 2008 और 2010 में विभिन्न पदों पर संविदा के आधार पर इन कर्मचारियों की भर्ती की गई थी। सेवा नियम 2018 के अनुसार, दो वर्ष की परिवीक्षा अवधि पूरी होने के बाद उनका नियमितीकरण किया गया था। लेकिन अब तक वेतन विसंगति, ग्रेड पे संशोधन, और सातवें वेतनमान के लाभ देने में अनियमितताएं बरती जा रही हैं।

कर्मचारियों की मांग:
अधिकारियों का कहना है कि महंगाई भत्ते (DA) का एरियर परिवीक्षा अवधि के दौरान नहीं दिया गया। वे मांग कर रहे हैं कि प्रथम नियुक्ति दिनांक से सेवाकाल जोड़ते हुए वरीयता सूची जारी की जाए। इसके अलावा, विकासखंड स्तरीय कार्यपालक पदों पर ग्रेड पे 3600 लागू करने और छह वर्ष की सेवा पूरी होने पर पदोन्नति एवं क्रमोन्नति के लाभ दिए जाने की भी मांग उठाई गई है।

सेमी गवर्नमेंट एम्प्लाइज फेडरेशन एम.पी. के प्रांताध्यक्ष अनिल वाजपेयी ने राज्य सरकार से अपील की है कि जन अभियान परिषद के कर्मचारियों की लंबित मांगों को जल्द पूरा किया जाए। उन्होंने यह भी आग्रह किया है कि ग्रेच्युटी से संबंधित जानकारी स्पष्ट की जाए और अन्य निगमों एवं मंडलों की तरह इन कर्मचारियों को भी सुविधाओं का लाभ दिया जाए।

Related Articles