भोपाल में कुशाभाऊ ठाकरे फाउंडेशन द्वारा ‘जिहाद की बेड़ियों में जकड़े देवालयों की मुक्तिक्रांति’ विषय पर व्याख्यान आयोजित, विष्णु शंकर जैन ने रखे विचार

भोपाल। कुशाभाऊ ठाकरे फाउंडेशन ने एक बार फिर भोपाल में बौद्धिक विचार-विमर्श का आयोजन किया। शनिवार को फाउंडेशन द्वारा पं खुशीलाल शर्मा सभागार में आयोजित 6वें व्याख्यान का विषय था ‘जिहाद की बेड़ियों में जकड़े देवालयों की मुक्तिक्रांति’, जिसमें सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील विष्णु शंकर जैन ने विचार रखे। इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में भोपाल सांसद आलोक शर्मा, विशेष अतिथि के रूप में मध्यप्रदेश के पूर्व सूचना आयुक्त विजय मनोहर तिवारी और स्वामी अलीनानंद जी भी मौजूद रहे।

कार्यक्रम में विष्णु शंकर जैन ने अपने वक्तव्य में हिन्दू मंदिरों पर कब्जे के तथ्यों को उजागर किया और उनके मुक्ति मार्ग की चर्चा की। उन्होंने कहा, “हमने श्रीराम मंदिर को मुक्त कर लिया, लेकिन हमारा मार्ग पूरा नहीं हुआ। हम जल्द भोजशाला सहित अन्य मंदिरों को भी मुक्त कराएंगे।”

“संविधान की मूल प्रति में हिन्दू धर्म के प्रतीकों के साथ जुड़ी तस्वीरों को हटवाना होगा” – विष्णु शंकर जैन

विष्णु शंकर जैन ने आगे कहा कि, “संविधान की मूल प्रति पर हिंसक टीपू सुल्तान और अय्याश अकबर की तस्वीर रानी लक्ष्मीबाई के साथ रखी गई है, जिसे हटवाना होगा।” उनका यह बयान सभागार में बैठे लोगों के बीच जोश का कारण बना, और कई बार जयकारों से पूरा हॉल गूंज उठा।

“हमारे मंदिरों पर हुए हमलों की कहानी पत्थरों से मिलती है” – विजय मनोहर तिवारी

विजय मनोहर तिवारी ने इस विषय पर संबोधित करते हुए कहा, “हमारे आध्यात्मिक केंद्रों पर हजारों हमले हुए हैं। भोजशाला जैसे स्थानों पर पत्थरों से जो सबक मिलता है, वह हमें हमारे इतिहास से जोड़े रखता है। पत्थर कभी झूठ नहीं बोलते, वे हमारे मंदिरों पर हुए हमलों की कहानी बताते हैं।”

“कुशाभाऊ ठाकरे फाउंडेशन का प्रयास युवा पीढ़ी को अपने इतिहास से जोड़ने का” – सांसद आलोक शर्मा

भोपाल सांसद आलोक शर्मा ने अपने संबोधन में कहा कि, “कुशाभाऊ ठाकरे फाउंडेशन का यह प्रयास युवा पीढ़ी को हमारे गौरवशाली इतिहास से अवगत कराना अत्यंत महत्वपूर्ण है। मैं प्रयास करूंगा कि भोपाल के इतिहास को जन-जन तक पहुंचाने के लिए और प्रयास किए जाएं।”

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